
नई दिल्ली, अजय राजपूत, प्रियंका दयाल। दिल्ली के संगम विहार क्षेत्र में दिव्यांश पब्लिक स्कूल के बाहर कूड़े के ढ़ेर बने हुए है। आस पास कोई कूड़ादान ना होने के कारण आस पास के स्थानीय निवासियों ने स्कूल के बाहर कूड़ा डालकर इस जगह को कूड़ेदान में तबदील कर दिया है। जिसका खामियाजा स्कूल आने जाने वाले बच्चों को करना पड़ता है। स्कूल के पास खाली जगह होने के कारण लोगों ने उसका उपयोग अपनी सुविधा के अनुसार करना शुरू कर दिया है।
- लोगों ने क्या किया?
जबकि कुछ जागरूक लोगों ने इस संबंध में जागरूकता अभियान भी चलाया एवं संबंधित अधिकारियों से इसकी शिकायत भी की। लेकिन इस समस्यां का कोई भी हल नहीं निकल सका है। बारिश में स्थिति ओर भी भयानक हो जाती है। बारिश से कूड़ा सड़ने लगता है ओर स्कूल के बच्चों को गंभीर बीमारी होने का खतरा लगातार बना रहता है। इसके अलावा भी स्कूल के छात्रों के अलावा यहां से आने जाने वाले लोगों को कूड़े के कारण होने वाली दुर्गंध का सामना करना पड़ता है।
- (1) कूड़ा कहां से आया?
स्कूल के पास खाली जगह होने के कारण स्थानीय निवासियों ने यहां कूड़ा डालना शुरू कर दिया जिसके कारण आस पास के लोगों के अलावा इस रास्ते से आने जाने वाले मुसाफिरों ने भी अपने घर का कूड़ा यहां डालना शुरू कर दिया जिसके कारण यह जगह एक कूड़ेदान में तबदील हो गई।
- (2) कूड़े के पास ही है स्कूल स्थित।
कूड़ा डालने वाली जगह के पास ही दिव्यांश पब्लिक स्कूल स्थित है जहां काफी संख्या में छोटे छोटे बच्चे पढ़ने आते है जिसके कारण समस्यां ओर भी गंभीर हो जाती है। स्कूल के अध्यापकों के अनुसार हर समय स्कूल में कूड़े की दुर्गंध आती रहती है। बारिश में तो स्थिति काफी गंभीर हो जाती है। कूड़े के कारण कीचड़ हो जाता है जिसके कारण बच्चों को संक्रमण की बीमारी होने का खतरा कई गुना बढ़ जाता है।
- (3) समस्यां का क्या है समाधान?
लोगों को जागरूक होना पड़ेगा। साथ ही साथ प्रशासन को भी कठोर कदम उठाते हुए यहां कूड़ा डालने पर जुर्माने की चेतावनी के बोर्ड लगाने होंगे ताकि लोग यहां कूड़ा ना डाले व लोगों के कूड़ा डालने के लिए उचित व्यवस्था करनी होगी।
“बच्चे देश का भविष्य है, अगर भविष्य ही बीमार हो गया तो कैसे विकसित होगा देश”