नई दिल्ली। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मंगलवार नागरिकता कानून और जामिया मिल्लिया इस्लामिया हिंसा को लेकर विपक्ष ने मुलाकात कर शिकायत दर्ज कराई। विपक्ष की अगुवाई कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने की। विपक्ष ने राष्ट्रपति से छात्रों पर पुलिस कार्रवाई की जांच की मांग की। कानून वापस लेने की मांग सोनिया गाँधी ने मुलाकात के बाद कहा, हमने राष्ट्रपति से अनुरोध किया कि वह मौजूदा हालात को देखते हुए इसमें दखल दें। हमने दिल्ली में देखा कि पुलिस ने शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे छात्रों पर किस तरह कार्रवाई की। हम इसकी निंदा करते हैं।
आप सभी ने देखा कि जब लोगों की आवाज दबाने की बात आती है तो मोदी सरकार पीछे नहीं रहती। टीएमसी के डेरेक ओ ब्रायन ने कहा कि हमने राष्ट्रपति से अनुरोध किया कि वह सरकार से नागरिकता कानून वापस लेने को कहें क्योंकि इससे सिर्फ गरीब लोग प्रभावित हो रहे हैं। सीपीएम के सीताराम येचुरी ने कहा कि हमने कहा कि वह इस सरकार को संविधान का उल्लंघन करते नहीं देख सकते। हमें इसकी चिंता है। राष्ट्रपति सरकार को इस कानून को वापस लेने की सलाह दें। वहीं, सपा के रामगोपाल यादव ने कहा कि हमने संसद में आशंका व्यक्त की थी कि देश में गंभीर स्थिति पैदा होगी, लोगों के मन में भय है, वो सही साबित हो रहा है। देश को विघटन की तरफ ले जाया जा रहा है।
एनआरसी और नागरिकता कानून ने देश के लोगों के मन में भय पैदा कर दिया है। उत्तर पूर्व को पूरी तरह देश से काट दिया गया, पाकिस्तान यही तो चाहता है कि वह हमारे देश को तोड़े। हमने राष्ट्रपति से अनुरोध किया है कि वह सरकार को कानून वापस लेने की सलाह दें।
कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद ने कहा, ये कानून देश को बांटने वाला कानून है। उनकी संख्या संसद में ज्यादा है, इसलिए उन्होंने लोगों और देश की कोई परवाह नहीं की। विपक्ष को पता था कि देशवासी इस कानून को नकार देंगे। शायद ही कोई राज्य और शिक्षण संस्थान है जहां लोग सड़कों पर न उतरे हों। छात्रों पर बेदर्दी से लाठीचार्ज हो रहा है। असम में पांच लड़के गोली से मारे गए। कई घायल हैं। कश्मीर के बाद नॉर्थ ईस्ट और अब पूरा देश। इस सरकार की यही मंशा है कि फोन, इंटरनेट बंद कर दो, टीवी बंद कर दो, अखबार में कोई खबर न आए।
- नागरिकता कानून पर संग्राम
विपक्ष के नेताओं ने सोमवार को कहा था कि वे जामिया हिंसा, नागरिकता कानून के मुद्दे पर राष्ट्रपति के समक्ष शिकायत दर्ज कराएंगे। बता दें कि जामिया विवाद पर दिल्ली में सियासत गर्म है। छात्रों पर पुलिस की कार्रवाई को लेकर माहौल गर्म है। मामला कोर्ट तक पहुंच गया है। वहीं, विपक्ष इसे लेकर सरकार पर हमलावर है। वहीं, देश के तमाम हिस्सों में नागरिकता कानून पर संग्राम मचा हुआ है। असम, बंगाल, दिल्ली और उत्तर प्रदेश में कई जगहों पर हिंसक प्रदर्शन हो रहे हैं। आज इसे लेकर दिल्ली के सीलमपुर में बवाल मचा। यहां प्रदर्शनकारियों ने पुलिस पर पथराव किया और कई बसों-गाड़ियों को फूंक दिया है।