Predictive policing: दिल्ली पुलिस के इस सॉफ्टवेयर से वारदात का पहले ही लगेगा पता

Predictive policing: दिल्ली पुलिस के इस सॉफ्टवेयर से वारदात का पहले ही लगेगा पता

this software of Delhi Police the crime will already be detected
Photo Source: Google

Predictive policing: दिल्ली पुलिस (Delhi Police) अब सॉफ्टवेयर के जरिए यह पता लगाएगी कि राजधानी के किस इलाके में किस तरह का अपराध कब हो सकता है. इतना ही नहीं डेटा के एल्गोरिदम पर आधारित विश्लेषण के जरिये यह सॉफ्टवेयर (प्रिडिक्टिव पुलिसिंग) पुलिस को पहले से ही आगाह कर देगा कि आने वाले समय में बदमाश किस इलाके में अपराध को अंजाम दे सकते हैं. इसका प्रयोग दिल्ली पुलिस अगले कुछ महीने में करने लगेगी.

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देश में दिल्ली पुलिस पहली ऐसी पुलिस होगी जो इस सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल करेगी. इसके लिए सेफ सिटी प्रोजेक्ट के तहत कैमरों से राजधानी के अपराधग्रस्त थाना इलाकों को कैमरों से लैस करने जैसे संसाधनों पर काम चल रहा है.

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यह सॉफ्टवेटर पूर्वानुमान पर आधारित पुलिसिंग में बेहद मददगार है. राजधानी के अपराध ग्रस्त इलाकों में लगाए गए एचडी सीसीटीवी कैमरे में कैद आपराधिक घटनाओं, टाइमिंग, अंजाम देने के तरीके और शिकार होने वाले लोगों के डेटा के आधार पर यह उसका विश्लेषण करेगा. साथ ही आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस तकनीक पर आधारित आगामी दिनों में होने वाले अपराध के पैटर्न, टाइमिंग और इलाके के बारे में भी एक पूर्वानुमान पर आधारित जानकारी मुहैया कराएगा.

दिल्ली पुलिस अब सेफ सिटी प्रोजेक्ट के तहत राजधानी में करीब और 10 हजार एचडी कैमरे लगाने जा रही है. कैमरे लगाने के काम पर बकायदा एक नामी निजी कंपनी जोर-शोर से जुटी है. इन कैमरों को सीधे दिल्ली पुलिस के केंद्रीय कंट्रोल रूम से जोड़ा जाएगा. कंट्रोल रूम में लगे सॉफ्टवेयर में विभिन्न इलाकों में घटित अपराध को लेकर आने वाले वीडियो के आधार पर डेटा फीड होगा और उसके आधार पर क्राइम पैटर्न का विश्लेषण तैयार होगा.

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